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जवानों की मौत रोकने के लिए दक्षिण एशियाई वतन की सरकार जरूरी

जवानों की श्रद्धांजलि सभा में विश्वात्मा भरत गांधी ने कहा

government of south asian union is necessaryउदालगुड़ी। पुलवामा में आतंकवादी घटना में शहीद हुए जवानों को श्रद्धांजलि देने के लिए वोटर्स पार्टी इंटरनेशनल ने उदालगुड़ी जिले के रौता में एक विशाल सभा का आयोजन किया, जिसमें पार्टी के प्रमुख विश्वात्मा भरत गांधी ने श्रद्धांजलि सभा को संबोधित करते हुए सरकार से पूछा कि यूरोपियन राष्ट्रवाद के नाम पर किसानों मजदूरों के बच्चों और जवानों का नरसंहार कब तक चलेगा ? उन्होंने कहा कि जमीन के एक टुकड़े को राष्ट्र मानने की बुरी लत अंग्रेजों ने लगाई। भारत की सभ्यता और संस्कृति में तो पूरी दुनिया को राष्ट्र माना जाता रहा है। इसलिए धरती के एक टुकड़े के नाम पर मार – काट करना, दंगा – फसाद करना, पत्थरबाजी करना और युद्ध करना एक जंगली मानसिकता है। इस जंगली मानसिकता से मुक्ति तब तक नहीं होगी, जब तक जवानों का इसी तरह खून बहेगा। उन्होंने कहा कि नागरिकता, संप्रभुता और राष्ट्रवाद के बारे में अंग्रेजों ने अपनी गलती महसूस की, इसलिए यूरोप के 27 देशों ने अपनी एक साझी सरकार, साझी संसद, साझी अदालत साझी सेना और साझी करेंसी नोट बना लिया। इससे यूरोपियन जवानों का नरसंहार रुक गया।

राज व्यवस्था और अर्थव्यवस्था पर दर्जनों पुस्तकों के लेखक विश्वात्मा भरत गांधी ने सरकार से पूछा कि संकीर्ण राष्ट्रवाद की जिस दवा को जहर मानकर यूरोप के लोगों ने राष्ट्रवाद को कचरे की पेटी में डाल दिया, भारत और दक्षिण एशियाई देशों के नेता उस कचरे की पेटी में से जहरीली दवा निकाल कर कब तक देश के नागरिकों को देते रहेंगे। उन्होंने कहा कि वीपीआई इसीलिए गरीबी और भागीदारी के लिए विश्वव्यापी संधि करने के लिए काम कर रही है और जनमत जुटा रही है। श्रद्धांजलि सभा को पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष ललित पेगू, आर्थिक आजादी आंदोलन के प्रदेश अध्यक्ष तरणी बासुमतारी, सुनील सरकार, भरत गयारी, अब्दुल कलाम, महेंद्र उरांव आदि पार्टी पदाधिकारियों ने संबोधित किया। इस श्रद्धांजलि सभा में आए वीपीआई के हजारों कार्यकर्ताओं ने अंत में 2 मिनट का मौन रखकर शहीद जवानों को श्रद्धांजलि दी। ( निस)